हबीब उर रहमान लुधियानवी
हबीब उर रहमान लुधियानवी
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पूरा नाम | हबीब उर रहमान लुधियानवी |
जन्म | 3 जुलाई, 1892 |
जन्म भूमि | लुधियाना, पंजाब |
मृत्यु | 2 सितंबर, 1956 |
अभिभावक | मौलाना शाह अब्दुल क़ादिर लुधियानवी (दादा) |
पति/पत्नी | बीबी शफ़तुनिसा |
नागरिकता | भारतीय |
प्रसिद्धि | भारतीय स्वतंत्रता सेनानी |
विशेष योगदान | असेम्बली बमकाण्ड के बाद मौलाना हबीब उर रहमान लुधियानवी ने भगतसिंह के परिवार के सदस्यों को एक महीने तक आश्रय प्रदान किया। |
अन्य जानकारी | हबीब उर रहमान लुधियानवी के पंडित नेहरू से तालुक़ात बहुत अच्छे रहे और आज़ादी बाद मुस्लिम दुनिया से भारत के अच्छे तालुक़ात के लिए उन्होंने बहुत मेहनत की। इसके लिए वह 1952 में साऊदी अरब भी गए। |
विषय सूची
परिचय
3 जुलाई, 1892 को पंजाब के लुधियाना में पैदा हुए हिन्दुस्तान की आज़ादी के अज़ीम रहनुमा मौलाना हबीब उर रहमान लुधियानवी ने ‘इस्लाम ख़तरे में है’ के नारे के पीछे छिपे हुए स्वार्थ का ख़ुलासा किया था। वो लुधियाना के मशहूर मौलाना शाह अब्दुल क़ादिर लुधियानवी के पोते थे, जिन्होंने 1857 में अंग्रेज़ों के ख़िलाफ़ फ़तवा दिया था। दारुल उलूम देवबंद से अपनी तालीम मुकम्मल करने के बाद मौलाना हबीब-उर-रहमान लुधियानवी ने मौलाना अब्दुल अज़ीज़ की बेटी बीबी शफ़तुनिसा से विवाह किया। वह भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस में शामिल हुए और ख़िलाफ़त आन्दोलन व असहयोग आंदोलन में बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया।[1]
टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ 1.0 1.1 मुशकिल घड़ी में भगत सिंह के परिवार के सदस्यों को शरण देने वाले मौलाना हबीब उर रहमान लुधियानवी (हिंदी) heritagetimes.in। अभिगमन तिथि: 11 फ़रवरी, 2020।