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'''जयप्राकार''' वियतनाम में मीकोंग नदी के दक्षिणी तट पर स्थित है। यह एक प्राचीन [[हिन्दू]] कालीन नगर है, जिसकी स्थापना स्थानीय [[पाली]] ग्रंथों के अनुसार, 9वीं शती ई. के उत्तरार्ध में स्याम के एक राजकुमार ने की थी। यह नगर चींगराय नामक ज़िले में स्थित था।<ref>{{पुस्तक संदर्भ |पुस्तक का नाम=ऐतिहासिक स्थानावली|लेखक=विजयेन्द्र कुमार माथुर|अनुवादक= |आलोचक= |प्रकाशक=राजस्थान हिन्दी ग्रंथ अकादमी, जयपुर|संकलन= |संपादन= |पृष्ठ संख्या=358|url=}}</ref> | '''जयप्राकार''' वियतनाम में [[मीकोंग नदी]] के दक्षिणी तट पर स्थित है। यह एक प्राचीन [[हिन्दू]] कालीन नगर है, जिसकी स्थापना स्थानीय [[पाली]] ग्रंथों के अनुसार, 9वीं शती ई. के उत्तरार्ध में स्याम के एक राजकुमार ने की थी। यह नगर चींगराय नामक ज़िले में स्थित था।<ref>{{पुस्तक संदर्भ |पुस्तक का नाम=ऐतिहासिक स्थानावली|लेखक=विजयेन्द्र कुमार माथुर|अनुवादक= |आलोचक= |प्रकाशक=राजस्थान हिन्दी ग्रंथ अकादमी, जयपुर|संकलन= |संपादन= |पृष्ठ संख्या=358|url=}}</ref> | ||
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06:48, 15 मई 2014 के समय का अवतरण
जयप्राकार वियतनाम में मीकोंग नदी के दक्षिणी तट पर स्थित है। यह एक प्राचीन हिन्दू कालीन नगर है, जिसकी स्थापना स्थानीय पाली ग्रंथों के अनुसार, 9वीं शती ई. के उत्तरार्ध में स्याम के एक राजकुमार ने की थी। यह नगर चींगराय नामक ज़िले में स्थित था।[1]
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ ऐतिहासिक स्थानावली |लेखक: विजयेन्द्र कुमार माथुर |प्रकाशक: राजस्थान हिन्दी ग्रंथ अकादमी, जयपुर |पृष्ठ संख्या: 358 |