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[[नगाड़ा]], तुराही, बिगुल, [[झांझ]], [[बांसुरी]] आदि [[वाद्य यंत्र|वाद्ययन्त्रों]] के सम्मिलित समूह को को नौबत कहा जाता था। यह ख़ुशी के मौक़े पर बजाई जाती थी।  
 
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09:20, 9 जनवरी 2020 के समय का अवतरण

नौबत शब्द का प्रयोग भारत के इतिहास में सल्तनत काल के दौरान अधिक होता था।

नगाड़ा, तुराही, बिगुल, झांझ, बांसुरी आदि वाद्ययन्त्रों के सम्मिलित समूह को को नौबत कहा जाता था। यह ख़ुशी के मौक़े पर बजाई जाती थी।


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

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