विभागसार

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विभागसार महाकवि विद्यापति द्वारा रचिक एक धर्म ग्रंथ हैं।

  • विभागसार ग्रन्थ भवेश के पुत्र हरिसिंहात्मज दर्पनारायण के आदेश से प्रणीत है।
  • विभागसार ग्रन्थ दायलक्षण, विभागस्वरूप, दायानर्ह, अविभाज्य, स्त्रीधन, द्वादशविधपुत्र, अपुत्रधनाधिकार, संसृष्टविभाग पर आधारित है[1]


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. नो. न्यू. (जिल्द 6,पृष्ठ 67

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