"सदस्य:रविन्द्र प्रसाद/2": अवतरणों में अंतर

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||आज तक सर्वसम्मति से यह निश्चित नहीं हो पाया है, कि 'ध्रुपद' का अविष्कार कब और किसने किया। इस सम्बन्ध में विद्वानों के कई मत हैं। [[अकबर]] के समय में इसे [[तानसेन]] और उनके गुरु [[हरिदास|स्वामी हरिदास]], [[बैजू बावरा|नायक बैजू]] और [[गोपाल नायक|गोपाल]] आदि प्रख्यात गायक ही गाते थे। ध्रुपद गंभीर प्रकृति का गीत है। इसे गाने में कण्ठ और [[फेफड़ा|फेफड़े]] पर बल पड़ता है। इसलिए लोग इसे 'मर्दाना गीत' कहते हैं।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[ध्रुपद]]
||आज तक सर्वसम्मति से यह निश्चित नहीं हो पाया है, कि 'ध्रुपद' का अविष्कार कब और किसने किया। इस सम्बन्ध में विद्वानों के कई मत हैं। [[अकबर]] के समय में इसे [[तानसेन]] और उनके गुरु [[हरिदास|स्वामी हरिदास]], [[बैजू बावरा|नायक बैजू]] और [[गोपाल नायक|गोपाल]] आदि प्रख्यात गायक ही गाते थे। ध्रुपद गंभीर प्रकृति का गीत है। इसे गाने में कण्ठ और [[फेफड़ा|फेफड़े]] पर बल पड़ता है। इसलिए लोग इसे 'मर्दाना गीत' कहते हैं।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[ध्रुपद]]


{विश्वविख्यात पेंटिंग 'द लास्ट सपर' किसकी कृति है?
{[[भुवनेश्वर]] तथा [[पुरी]] के मन्दिर किस शैली में निर्मित हैं?
|type="()"}
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-पिकासो
+नागर शैली
-एंजेलो
-द्रविड़ शैली
+‌विंची
-मुग़ल शैली
-राफ़ेल
-राजपूत शैली


{[[बुद्ध]] के धार्मिक विचारों और वचनों का संग्रह किस [[ग्रंथ]] में है?
{[[बुद्ध]] के धार्मिक विचारों और वचनों का संग्रह किस [[ग्रंथ]] में है?
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-[[अभिधम्मपिटक]]
-[[अभिधम्मपिटक]]
-[[जातक कथा]]
-[[जातक कथा]]
||बुद्ध के धार्मिक विचारों व उपदेशों के संग्रह वाला गद्य-पद्य मिश्रित यह पिटक सम्भवतः त्रिपिटकों में सर्वाधिक बड़ा एवं श्रेष्ठ है।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[सुत्तपिटक]]
||[[चित्र:Buddhism-Symbol.jpg|right|100px|बौद्ध धर्म का प्रतीक]]'सुत्त' शब्द का शाब्दिक अर्थ है-'धर्मोपदेश'। [[महात्मा बुद्ध]] ने अपने जीवन में असंख्य कल्याणकारी उपदेश दिये थे। बुद्ध के धार्मिक विचारों व उपदेशों के संग्रह वाला गद्य-पद्य मिश्रित [[सुत्तपिटक]] सम्भवतः [[त्रिपिटक|त्रिपिटकों]] में सर्वाधिक बड़ा एवं श्रेष्ठ है। इस [[ग्रन्थ]] में महात्मा बुद्ध के अनमोल वचनों का सग्रंह है।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[सुत्तपिटक]]
   
   
{सरहुल पर्व का सम्बंध किस राज्य से है?  
{सरहुल पर्व का सम्बन्ध किस राज्य से है?
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-[[राजस्थान]]  
-[[राजस्थान]]  
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-[[मध्य प्रदेश]]  
-[[मध्य प्रदेश]]  
-[[पश्चिम बंगाल]]
-[[पश्चिम बंगाल]]
||[[चित्र:Vaidyanath-Temple.jpg|thumb|100px|right|वैद्यनाथ मन्दिर, [[देवघर]]]]जनजातीय त्योहार (जैसे सरहुल), वसंतोत्सव (सोहरी) और शीतोत्सव (माघ परब) उल्लास के अवसर हैं। जनजातीय संस्कृति बाहरी प्रभावों, जैसे ईसाईयत, औद्योगिकीकरण, नए संचार सम्पर्कों, जनजातीय कल्याण कार्यक्रमों और सामुदायिक विकास परियोजनाओं चलते तेज़ी से बदल रही है।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[झारखण्ड]]  
||[[चित्र:Vaidyanath-Temple.jpg|100px|right|वैद्यनाथ मन्दिर, देवघर]]झारखण्ड के अधिकांश जनजातीय गाँवों में एक नृत्यस्थली होती है। प्रत्येक गाँव का अपना पवित्र वृक्ष (सरना) होता है, जहाँ गाँव के [[पुरोहित]] द्वारा [[पूजा]] अर्पित की जाती है। साप्ताहिक हाट जनजातीय अर्थव्यवस्था में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती है। जनजातीय त्योहार, जैसे- 'सरहुल', 'बसंतोत्सव' (सोहरी) और 'शीतोत्सव' (माघ परब) आदि उल्लास के अवसर हैं।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[झारखण्ड]]


{[[दुमका]] का हिजला मेला किस नदी के किनारे आयोजित होता है?  
{[[दुमका]] का 'हिजला मेला' किस नदी के किनारे आयोजित होता है?
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-[[दामोदर नदी|दामोदर]]  
-[[दामोदर नदी|दामोदर]]  
-स्वणरिखा
-[[स्वर्णरेखा नदी]]
-[[बराकर नदी|बराकर]]  
-[[बराकर नदी|बराकर]]
+[[मयूराक्षी नदी दुमका|मयूराक्षी]]  
+[[मयूराक्षी नदी दुमका|मयूराक्षी]]
||[[चित्र:Masanjore-Dam.jpg|thumb|100px|right|मसनजोर बांध, मयूराक्षी नदी]]इसका उदगम स्थल त्रिकुट में है जो वैद्यनाथ धाम से 16 कि.मी. की दूरी पर स्थित है। इस पर एक बांध भी बना हुआ है जिसका नाम मसनजोर है।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[मयूराक्षी नदी दुमका|मयूराक्षी]]  
||[[चित्र:Masanjore-Dam.jpg|100px|right|मसनजोर बांध, मयूराक्षी नदी]][[मयूराक्षी नदी दुमका|मयूराक्षी नदी]] का उद्गम स्थल [[त्रिकुट]] में है, जो [[वैद्यनाथधाम]] से 16 कि.मी. की दूरी पर स्थित है। मयूराक्षी नदी को 'मोड' नाम से भी जाना जाता है। यह नदी [[दुमका]], [[झारखण्ड]] की एक प्रमुख नदी है। इस नदी के किनारे पर आयोजित होने वाला 'हिजला मेला' अपनी सांस्कृतिक विरासत के लिए दूर-दूर तक जाना जाता है।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[मयूराक्षी नदी दुमका|मयूराक्षी]]


{[[माउण्ट आबू]] का [[दिलवाड़ा जैन मंदिर माउंट आबू|दिलवाड़ा मंदिर]] किसको समर्पित है?  
{[[माउण्ट आबू]] का [[दिलवाड़ा जैन मंदिर|दिलवाड़ा मंदिर]] किसको समर्पित है?
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-[[भगवान विष्णु]]
-[[भगवान विष्णु]]
-[[शिव|भगवान शिव]]  
-[[शिव|भगवान शिव]]
-[[बुद्ध|भगवान बुद्ध]]  
-[[बुद्ध|भगवान बुद्ध]]
+[[जैन|जैन तीर्थंकर]]  
+[[जैन|जैन तीर्थंकर]]
||[[चित्र:Jainism-Symbol.jpg|thumb|100px|right|जैन धर्म का प्रतीक]]इन तीर्थंकरों का वह उपदेश जिन शासन, जिनागम, जिनश्रुत, द्वादशांग, जिन प्रवचन आदि नामों से उल्लिखित किया गया है। उनके इस उपदेश को उनके प्रमुख एवं प्रतिभाशाली शिष्य विषयवार भिन्न-भिन्न प्रकरणों में निबद्ध या ग्रथित करते हैं। अतएव उसे 'प्रबंध' एवं 'ग्रन्थ' भी कहते हैं।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[जैन|जैन तीर्थंकर]]   
||[[चित्र:Jainism-Symbol.jpg|80px|right|जैन धर्म का प्रतीक]]'दिलवाड़ा जैन मंदिर' [[राजस्थान]] राज्य के [[सिरोही ज़िला|सिरोही ज़िले]] के [[माउंट आबू]] नगर में स्थित है। इन मंदिरों का निर्माण 11वीं से 13वीं शताब्दी के बीच में हुआ था। यह विशाल एवं दिव्य मंदिर [[जैन धर्म]] के तीर्थंकरों को समर्पित है। दिलवाड़ा जैन मंदिर का प्रवेशद्वार गुंबद वाले मंडप से होकर है, जिसके सामने एक वर्गाकृति भवन है। इसमें छ: स्तंभ और दस [[हाथी|हाथियों]] की प्रतिमाएँ हैं।{{point}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-[[दिलवाड़ा जैन मंदिर|दिलवाड़ा मंदिर]]   


{राजस्थान की प्रसिद्ध 'ब्लू-पॉटरी' दस्तकारी का उद्भव कहाँ से हुआ?
{राजस्थान की प्रसिद्ध 'ब्लू-पॉटरी' दस्तकारी का उद्भव कहाँ से हुआ?

07:32, 17 दिसम्बर 2011 का अवतरण

कला और संस्कृति

2 प्रसिद्ध गायिका पीनाज मसानी किस गायिकी से सम्बंधित हैं?

शास्त्रीय गायन
गजल गायिकी
ठुमरी गायिकी
कर्नाटक संगीत

3 उमाकांत और रमाकांत गुंडेचा बंधु कौन हैं?

ध्रुपद के गायक
कत्थक के नर्तक
सरोज के संगीतज्ञ
तबला वादक

4 भुवनेश्वर तथा पुरी के मन्दिर किस शैली में निर्मित हैं?

नागर शैली
द्रविड़ शैली
मुग़ल शैली
राजपूत शैली

5 बुद्ध के धार्मिक विचारों और वचनों का संग्रह किस ग्रंथ में है?

सुत्तपिटक
विनयपिटक
अभिधम्मपिटक
जातक कथा

6 सरहुल पर्व का सम्बन्ध किस राज्य से है?

राजस्थान
झारखण्ड
मध्य प्रदेश
पश्चिम बंगाल

7 दुमका का 'हिजला मेला' किस नदी के किनारे आयोजित होता है?

दामोदर
स्वर्णरेखा नदी
बराकर
मयूराक्षी

9 राजस्थान की प्रसिद्ध 'ब्लू-पॉटरी' दस्तकारी का उद्भव कहाँ से हुआ?

कश्मीर
पर्शिया
अफ़ग़ानिस्तान
सिन्ध

10 भारत में भरहुत भूमि किससे सम्बन्धित है?

जैन धर्म से
बौद्ध धर्म से
हिन्दू धर्म से
इस्लाम धर्म से

11 'लिंगायत धर्म' के संस्थापक कौन माने जाते हैं?

अंगुलिमाल
बुद्धगुप्त
उपगुप्त
वासव

12 तीर्थकर शब्द किस धर्म से सम्बन्धित है?

बौद्ध धर्म
ईसाई धर्म
जैन धर्म
हिन्दू धर्म

13 'पाब्लो पिकासो' कहाँ का प्रसिद्ध चित्रकार था?

जर्मनी
ग्रीस
स्पेन
जापान

14 प्रसिद्ध मीनाकारी 'थेवा कला' का सम्बन्ध किससे है?

बीकानेर से
प्रतापगढ़ से
जयपुर से
बाँसवाड़ा से

15 खालसाओं के पाँच अनिवार्य लक्षण (पाँच कक्के) किसने निर्धारित किए थे?

गुरु नानक देव
गुरु रामदास
गुरु अर्जुन देव
गुरु गोविन्द सिंह